Navratri 6th Day: नवरात्रि, हिन्दू धर्म के एक महत्वपूर्ण त्योहार है जो मां दुर्गा की पूजा के रूप में मनाया जाता है। यह नौ दिनों तक चलने वाला त्योहार है, जिसमें हर दिन को अलग-अलग रूप और विशेषता के साथ मनाया जाता है। नवरात्रि के छठे दिन (Navratri 6th Day), जिसे षष्ठी कहा जाता है, मां कात्यायनी की पूजा की जाती है, जिन्हें विद्या की देवी भी कहा जाता है. अपने उग्र स्वभाव के लिए जानी जाती हैं। इस दिन पूजा कैसे करें, पूजा की विधि (Puja Vidhi), मंत्र और किस चीज भोग माता को अर्पित करें जानेगे सब कुछ।
![Navratri 6th Day: नवरात्रि के छठे दिन रोग और विवाह में बाधा दूर करेगी मां कात्यायनी। जानें पूजा विधि,मंत्र,रंग और भोग Navratri 6th Day Maa katyayani Puja vidhi mantra bhog and prasad](https://tajanews24.in/wp-content/uploads/2023/10/video_image-MiK2dAlkF-1024x576.jpeg)
इस दिन का महत्व (Navratri 6th Day Importance)
ऐसा माना जाता है कि आज की पूजा के माध्यम से भक्त धन, धर्म, इच्छा और मोक्ष के चार फलों को आसानी से प्राप्त कर सकते हैं। साथ ही जो लोग लंबी बीमारी से पीड़ित हैं उन्हें बीमारी से राहत मिलेगी। माता कात्यायनी की पूजा करने से मनुष्य के रोग, चिंता, परेशानी और भय दूर हो जाते हैं। वही अविवाहित कन्याओं को उनके पसंदीदा पति मिलते हैं था उनकी शादी में आने वाली समस्याओं से छुटकारा मिलता है।
मां कात्यायनी का स्वरूप (Navratri 6th Day Maa Katyatani)
मां कात्यायनी का स्वरूप देवी दुर्गा का एक रूप होता है और वह सुंदरता, सौन्दर्य और धैर्य की प्रतीक मानी जाती हैं. वह स्वर्ण वर्ण और चार हाथों वाली होती हैं, और उनके दूसरे हाथ में कमंडल, पहले हाथ में कटार, तीसरे हाथ में शंख, और चौथे हाथ में लोटा होता है.
मां कात्यायनी की कथा (Navratri 6th Day Maa Katyatani Katha)
ऐसी मान्यता है की मां कात्यायनी से जुड़ी एक कथा है. कात्यायन ऋषि ने बहुत वर्षों तक तप किया था, जिसके बाद उन्हें कात्यायनी के रूप बेटी प्राप्त हुई. मां कात्यायनी का पूजन गोपियां श्रीकृष्ण की प्राप्ति के लिए करती थीं.
मां कात्यायनी पूजन शुभ मुहूर्त (Navratri 6th Day Pooja Shubh Muhurt)
- ब्रह्म मुहूर्त- 04:44 AM से 05:34 AM
- प्रातः सन्ध्या- 05:09 AM से 06:25 AM
- अभिजित मुहूर्त- 11:43 AM से 12:28 PM
- विजय मुहूर्त- 01:59 PM से 02:45 PM
- गोधूलि मुहूर्त- 05:47 PM से 06:12 PM
- सायाह्न सन्ध्या- 05:47 PM से 07:03 PM
- अमृत काल- 02:23 PM से 03:58 PM
- निशिता मुहूर्त- 21 अक्टूबर को 11:41 PM से 12:31 AM
- रवि योग- 06:25 AM से 08:41 AM
मां कात्यायनी का प्रिय पुष्प व रंग (Navratri 6th Day Colour)
मां कात्यायनी को लाल रंग अतिप्रिय है। इस दिन लाल रंग के गुलाब का फूल मां भगवती को अर्पित करना अत्यंत शुभ माना गया है। मान्यता है कि ऐसा करने से मां भगवती की कृपा होती है।
मां कात्यायनी का भोग (Navratri 6th Day Prasad)
मां कात्यायनी को शहद अतिप्रिय है। ऐसे में पूजा के समय मां कात्यायनी को शहद का भोग लगाना चाहिए। कहते हैं कि ऐसा करने से भक्त का व्यक्तित्व निखरता है।
मां कात्यायनी पूजा विधि (Navratri 6th Day Maa Katyayani Puja Vidhi)
छठे दिन, भोर में स्नान करें और घर की साफ-सफाई करें। साफ कपड़े पहने और मां कात्यानी की पूजा करने की तैयारी करें। सबसे पहले मां कात्यानी की मूर्ति का श्रृंगार करें और उन्हें गंगा जल से पवित्र करें। मां कात्यायनी को लाल रंग पसंद है इसलिए पूजा के दौरान लाल रंग पहनना शुभ माना जाता है। वह मां को अक्षत, कुमकुम, लाल फूल और भोग चढ़ाये। मां की आरती के साथ मंत्र का जाप करें.
मां कात्यायनी मंत्र जाप (Navratri 6th Day Maa Katyayani Mantra)
मां कात्यायनी की पूजा के समय इस मंत्र का जाप करें
या देवी सर्वभूतेषु मां कात्यायनी रूपेण संस्थिता।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:।।
मां कात्यायनी की आरती (Navratri 6th Day Maa Katyayani Aarti)
जय-जय अम्बे जय कात्यायनी
जय जगमाता जग की महारानी
बैजनाथ स्थान तुम्हारा
वहा वरदाती नाम पुकारा
कई नाम है कई धाम है
यह स्थान भी तो सुखधाम है
हर मंदिर में ज्योत तुम्हारी
कही योगेश्वरी महिमा न्यारी
हर जगह उत्सव होते रहते
हर मंदिर में भगत हैं कहते
कत्यानी रक्षक काया की
ग्रंथि काटे मोह माया की
झूठे मोह से छुडाने वाली
अपना नाम जपाने वाली
बृहस्पतिवार को पूजा करिए
ध्यान कात्यायनी का धरिए
हर संकट को दूर करेगी
भंडारे भरपूर करेगी
जो भी मां को ‘चमन’ पुकारे
कात्यायनी सब कष्ट निवारे।।
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